tag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post6610667506779398088..comments2023-10-28T13:44:57.797+05:30Comments on मंगलायतन: लम्पट और नक्कालों से सावधानमनोज पाण्डेयhttp://www.blogger.com/profile/12404564140663845635noreply@blogger.comBlogger23125tag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-53552826500814581412012-10-09T15:53:57.058+05:302012-10-09T15:53:57.058+05:30बहुत बदिया ....रविन्द्र जी का ब्लोगिंग के लिए योगद...बहुत बदिया ....रविन्द्र जी का ब्लोगिंग के लिए योगदान सराहनीय है ....सु-मन (Suman Kapoor)https://www.blogger.com/profile/15596735267934374745noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-61435974295964359882012-09-13T22:22:51.677+05:302012-09-13T22:22:51.677+05:30प्रिय मनोज जी,
आपसे हुई उस अछोटी सी मुलाकात ने मज...प्रिय मनोज जी,<br /><br />आपसे हुई उस अछोटी सी मुलाकात ने मजा ला दिया। लखनऊ, विस्वविद्यालय का अतिथीगृह, सम्मेलन और उसका इंतजाम......<br /><br />रविन्द्र जी, जाकिर भाई, सुमन जी, आपकी और शेष टीम को इस सफल और ऐतिहासिक आयोजन के लिए बधाई।<br /><br />यह कमी केवल वो नही महसूस कर सकते हैं जो ब्लॉगिंग की दुनिया से जुड़े् तो हैं और इस सम्मेलन में शिरकत नही कर पाए।<br /><br />सादर,<br /><br />मुकेश कुमार तिवारीमुकेश कुमार तिवारीhttps://www.blogger.com/profile/04868053728201470542noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-23590332039731054602012-09-07T19:47:12.741+05:302012-09-07T19:47:12.741+05:30अजय जी का नाम केवल प्रसंग वश दिया था , उस दिन जब ऑ...अजय जी का नाम केवल प्रसंग वश दिया था , उस दिन जब ऑनलाइन निमंत्र्ण देखा तो उनको भी दिखाया था . इस के अलावा अजय जी का मेरी सोच , मेरे कमेन्ट या किसी भी बात से क़ोई लेना देना नहीं हैं<br />अगर उनका नाम लेना उन्हे पीड़ा दे गया तो मै क्षमा प्रार्थी हूँ रचनाhttps://www.blogger.com/profile/03821156352572929481noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-65990410864260779992012-09-06T19:47:56.243+05:302012-09-06T19:47:56.243+05:30हां ये सच है , रचना जी ने मुझसे इस बाबत और ठीक यही...हां ये सच है , रचना जी ने मुझसे इस बाबत और ठीक यही बात की थी , मैं दिनों श्रीमती जी की अस्वस्थता और कुछ शैक्षणिक दुनिया में दोबारा घुसने की व्यस्तता के कारण नियमित अनियमित होता रहा हूं , लेकिन सब देख सुन भी रहा हूं ,....और ऐसा पिछले पांच वर्षों से हम सब कर रहे हैं , मुझे खुशी होती है अब ये सोच कर कि आगे आने वाले ब्लॉगरों को इसी बहाने पहले से ब्लॉगिंग कर रहे ब्लॉगरों को पहचानने और सही तरह से से जानने के लिए यही पोस्टें निर्णायक होंगी । चूंकि मेरा नाम यहां लिया गया इसलिए मैंने यहां प्रतिक्रिया दी , अन्यथा अब हिंदी अंतर्जाल पर इतनी सारी पाठ्यसामग्री मौज़ूद है कि वो आसानी से लोगों को ब्लॉगिंग से पीछे की ओर ले जाएगी । अजय कुमार झाhttps://www.blogger.com/profile/16451273945870935357noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-73513063517169793652012-09-05T23:41:04.226+05:302012-09-05T23:41:04.226+05:30@brajesh sinha
अभी ऊपर जिसप्रकार एक महिला बार-बार...@brajesh sinha <br />अभी ऊपर जिसप्रकार एक महिला बार-बार झूठ का सहारा लेकर अपना पक्ष रख रही थी, वह निसंदेह अशोभनीय है ।<br /><br />shukriyaa log jaantae haen <br />रचनाhttps://www.blogger.com/profile/03821156352572929481noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-34623239135359266302012-09-05T20:37:16.613+05:302012-09-05T20:37:16.613+05:30जानकारी के लिए आभार.....जानकारी के लिए आभार.....Sunil Kumarhttps://www.blogger.com/profile/10008214961660110536noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-85261429871272002452012-09-05T17:42:02.382+05:302012-09-05T17:42:02.382+05:30bahut achhi sakaratmak prastuti..
aabhar!bahut achhi sakaratmak prastuti..<br />aabhar!KAVITAhttps://www.blogger.com/profile/12727771417982430321noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-50884545633157737572012-09-05T17:14:01.476+05:302012-09-05T17:14:01.476+05:30महत्वहीन बातों को अत्यधिक महत्व न दीजिये, न ही महत...महत्वहीन बातों को अत्यधिक महत्व न दीजिये, न ही महत्वपूर्ण बातों को छोडकर तुच्छ बातों पर मन को केन्द्रित कीजिये, अन्यथा आप अपनी प्रगति में रुकावट डालेंगे, जिनका हमारे वास्तविक कर्तव्यों से कोई संबंध नहीं होता। रचना की टिप्पणी से पूर्वाग्रह की बदबू आ रही है । खैर छोड़िए और आगे बढ़िए !गीतेशhttps://www.blogger.com/profile/14766567920202691433noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-6907532025100907192012-09-05T16:55:05.232+05:302012-09-05T16:55:05.232+05:30गंदगी फैलाने वाले जहां कहीं भी रहेंगे, गंदगी फैलाए...गंदगी फैलाने वाले जहां कहीं भी रहेंगे, गंदगी फैलाएँगे ही । ब्लोगिंग इससे कैसे बचा रह सकता है । अभी ऊपर जिसप्रकार एक महिला बार-बार झूठ का सहारा लेकर अपना पक्ष रख रही थी, वह निसंदेह अशोभनीय है । आपने उन्हें प्रमाण भी दिया, फिर भी शांत नहीं हुयी । क्या करेंगे पांडे जी, यह अभिव्यक्ति का मुक्त माध्यम है । हाँ कीचड़ से दूर रहे,मैं यही सलाह दूंगा । ब्रजेश सिन्हाhttps://www.blogger.com/profile/02137664832747366807noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-71071424911155400602012-09-05T16:35:46.775+05:302012-09-05T16:35:46.775+05:30बुरे लोग भी ब्लोगिंग में हैं , सावधान करने के लिए ...बुरे लोग भी ब्लोगिंग में हैं , सावधान करने के लिए तहे दिल से शुक्रिया.<br />मैंने भी आपकी बात को आगे पहुंचाने की कोशिश की है.<br /><br />मेरे ब्लॉग पर भी तशरीफ़ लायें.<br />http://blogkikhabren.blogspot.in/2012/09/blog-post_4265.htmlHAKEEM YUNUS KHANhttps://www.blogger.com/profile/11947101320031096515noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-47923813170550212892012-09-05T16:16:20.184+05:302012-09-05T16:16:20.184+05:30आप केवल मुद्दे की बात कीजिये, इधर-उधर की बातें करक...आप केवल मुद्दे की बात कीजिये, इधर-उधर की बातें करके गुमराह न करें । मनोज पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/12404564140663845635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-82066592781579599722012-09-05T16:14:10.194+05:302012-09-05T16:14:10.194+05:30पहले तो आपने कहा कि मुझे निमंत्रण नहीं मिला, फिर अ...पहले तो आपने कहा कि मुझे निमंत्रण नहीं मिला, फिर अब कुछ और कह रही हैं। बार-बार अपनी ही बातों से क्यों मुकर रही हैं । यह झूठ नहीं तो क्या हैमाननीया?मनोज पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/12404564140663845635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-12326791141800169682012-09-05T16:13:37.967+05:302012-09-05T16:13:37.967+05:30नक्कालों से गले मिलो
नक्काल गले पड़ें तो
नक्काल...नक्कालों से गले मिलो<br />नक्काल गले पड़ें तो<br />नक्काल ही करेंगे जी<br />हिंदी ब्लॉगिंग का <br />बेड़ा बखेड़ा रेहड़ा पारनुक्कड़https://www.blogger.com/profile/00641159955741972638noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-48502916940404745022012-09-05T16:00:42.241+05:302012-09-05T16:00:42.241+05:30मैने तो रविद्र प्रभात जी को कभी फ़ोन नहीं किया है...मैने तो रविद्र प्रभात जी को कभी फ़ोन नहीं किया हैं<br />मैने उनकी एक पोस्ट पर किताब सम्बंधित बात पूछी थी<br />मुझे क़ोई ओपचारिक सूचना नहीं मिली<br />मैने टिकेट इस लिये कैंसिल करा दिया क्युकी मेरा नाम जिस प्रकार से ऑनलाइन निमंत्र्ण में था वो औरो से बिलकुल भिन्न था , और वो पहला निमेंत्र्ण रेखा श्रीवास्तव ने मुझे भेजा था<br />झूठ बोलना मेरा काम नहीं हैं और झूठ के पाँव सही में नहीं होते<br />इस विषय पर मैने रेखा, अजय झा और वंदना दुबे तीन से बात भी की थी<br />मै फिर कह रही हूँ मैने किसी को भी फ़ोन नहीं किया हैं रचनाhttps://www.blogger.com/profile/03821156352572929481noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-16356408363759270792012-09-05T15:56:57.581+05:302012-09-05T15:56:57.581+05:30झूठ के पाँव नहीं होते रचना जी, जब मैंने आपके इस आर...झूठ के पाँव नहीं होते रचना जी, जब मैंने आपके इस आरोप के परिप्रेक्ष्य मे रवीन्द्र जी से पूछा तो वे हतप्रभ रह गए उन्होने कहा कि मैंने तो दशक के सभी सम्मानित ब्लोगर्स को मेल 28 जुलाई को ही कर दिया था । उसके बाद रचना जी ने मुझे फोन भी किया था और कहा था कि मैंने टिकट बूक करा लिया है । उसके बाद उन्होने मुझे फिर फोन करके पूछा कि कार्यक्रम के लिए मैं कुछ पुस्तकें भेजना चाहती हूँ दिल्ली मेन किसे दे दूँ तो मैंने अविनाश जी का नाम सुझाया था । उन्होने वह मेल मुझे फॉरवर्ड भी किया है जो यहाँ प्रस्तुत है। मैं तो यही कहूँगा कि गुरग्रह से बचिए किसी पर इल्जाम सोच-समझकर लगाईए । <br />ravindra prabhat<br /> 28 Jul<br /> <br /> <br />to bcc: Sameer, bcc: बी, bcc: indianwomanhas., bcc: arvind, bcc: Zakir<br /> <br /> <br />प्रिय महोदय/ महोदया <br />आपको यह अवगत कराते हुए अपार हर्ष की अनुभूति हो रही है कि आगामी 27 .08 .2012 को देश व विदेश के ब्लॉगर लखनऊ मे जुटेंगे । नए मीडिया के सामाजिक सरोकार पर बात करेंगे । इस बहस-मुहाबिसे मे पिछले कुछ दिनों से चर्चा के केंद्र मे रहे इस नए मीडिया पर मंथन होगा। साथ ही सकारात्मक ब्लोगिंग को बढ़ावा देने वाले 51 ब्लॉगरों को 'तस्लीम परिकल्पना सम्मान-2011' से नवाजा जाएगा । साथ ही हिंदी ब्लोगिंग दशक के सर्वाधिक चर्चित पांच ब्लोगर और पांच ब्लॉग के साथ-साथ दशक के चर्चित एक ब्लोगर दंपत्ति को भी परिकल्पना समूह द्वारा सम्मानित किया जाएगा । <br /><br />यह सम्मान 27 अगस्त को राय उमानाथ बली प्रेक्षागृह मे आयोजित अंतर्राष्ट्रीय ब्लॉगर सम्मेलनमे दिये जाएँगे। इस अंतर्राष्ट्रीय ब्लॉगर सम्मेलन का आयोजन तस्लीम व परिकल्पना समूह कर रहा है । सम्मेलन मे कई गंभीर विषयों पर चर्चा होगी । जैसे कि ब्लॉग, वेबसाईट, वेब पोर्टल,सोशल नेटवर्किंग साइट के सहारे अभिव्यक्ति की आज़ादी के नए द्वार के रूप मे अवतरित होने वाला मीडिया सामाजिक बंधनों को तोड़ने मे मुख्य भूमिका निभा रहा है। लेकिन अक्सर यह भाषायी मर्यादाओं व निजता के अधिकारों को छिन्न-भिन्न करता प्रतीत होता है ।<br /><br />कहीं यह मीडिया आज़ादी के नाम पर गलत चीजों को तो बढ़ावा नहीं दे रहा है । यह एक अहम सवाल है जैस्पर मंथन होगा । सम्मेलन मे मीडिया से जुड़े देश-विदेश के अहम हस्ताक्षरों को बुलाया गया है । सकारात्मक ब्लोगिंग को बढ़ावा देने के उद्देश्य से इस आयोजन को तीन सत्रों मे रखा गया है। पहले सत्र मे 'नए मीडिया की भाषाई चुनौतियाँ' दूसरे सत्र मे 'नए मीडिया के सामाजिक सरोकार' एवं तीसरे सत्र मे 'नया मीडिया दशा-दिशा-दृष्टि' पर विचार रखे जाएँगे ।<br /><br />परिकल्पना समूह द्वारा इस अवसर पर आपके द्वारा संचालित ब्लॉग को "दशक के श्रेष्ठ ब्लॉग" के रूप में अलंकृत कर सम्मानित करने का निर्णय किया है . आपसे विनम्र निवेदन है कि इस अवसर पर उपस्थित होकर हमें कृतार्थ करें . <br /> <br /><br />अपने आने का संपूर्ण विवरण तस्लीम के महामंत्री डॉ0 जाकिर अली ‘रजनीश’ (मो0 9935923334, ईमेलः zakirlko AT gmail DOT com) तथा अधोहस्ताक्षरी के मेल पर या मोबाईल पर दे सकते हैं।<br /><br />भवदीय-<br />रवीन्द्र प्रभात <br />संयोजक परिकल्पना समूह <br />मोबाईल न. 9415272608<br />मनोज पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/12404564140663845635noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-35967990756642511722012-09-05T15:50:37.949+05:302012-09-05T15:50:37.949+05:30hamne ye magazine lucknow me le li.. bethareen..hamne ye magazine lucknow me le li.. bethareen..मुकेश कुमार सिन्हाhttps://www.blogger.com/profile/14131032296544030044noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-45876628283961417352012-09-05T15:45:13.374+05:302012-09-05T15:45:13.374+05:30इतनी विस्तृत जानकारी के लिए आभार.इतनी विस्तृत जानकारी के लिए आभार.Bharat Bhushanhttps://www.blogger.com/profile/10407764714563263985noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-72540371251363861432012-09-05T15:32:26.836+05:302012-09-05T15:32:26.836+05:30kament mae yae link dena reh gaya
http://wwwvanda...kament mae yae link dena reh gaya <br />http://wwwvandanablog.blogspot.in/2012/09/blog-post.html?showComment=1346837577799#c4480782918969724865रचनाhttps://www.blogger.com/profile/03821156352572929481noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-56796615789843820242012-09-05T15:18:29.499+05:302012-09-05T15:18:29.499+05:30इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.रचनाhttps://www.blogger.com/profile/03821156352572929481noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-88530944852025099382012-09-05T15:18:28.227+05:302012-09-05T15:18:28.227+05:30मुझे क़ोई आधिकारिक सूचना या निमन्त्रण भी नही आया थ...मुझे क़ोई आधिकारिक सूचना या निमन्त्रण भी नही आया था . मुझे केवल नेट से ही पता चला था की वोटो के आधार पर नारी ब्लॉग का चयन हुआ था . इस लिये मै टिकेट करवाने के बाद भी नहीं गयी क्युकी जब ऑनलाइन निमंत्र्ण मै अपने नाम को इस प्रकार से देखा . आप के कमेन्ट के बाद सुधार हुआ था लेकिन ऑनलाइन निमंत्र्ण की मूल प्रति अभी भी शास्त्री जी के ब्लॉग पर हैं .<br />ये भूल हैं , टंकन की गलती हैं ये आयोजक बेहतर जानते हैं . हा नारी ब्लॉग के लिये वोट मैने किसी से नहीं माँगा था . और मैने तो रेखा जी और आप को कहा भी था की क़ोई भी सदस्य इस को मंच पर ले सकता हैं क्युकी ये नारी ब्लॉग का हैं मेरा व्यक्तिगत नहीं .<br />क़ोई भी पुरूस्कार अनुपस्थिति में , पुरूस्कार पाने वाले तक पहुचाना शायद आयोजक का काम नहीं होता हैं .<br />लेकिन उस व्यक्ति से पूछना की उस पुरूस्कार का क्या करना हैं ?? ये भी जरुरी नहीं समझा गया ??<br />आयोजन समिति ने अपने अपने लिये ५-६ पुरूस्कार तक रख लिये { अभी गिन रही हूँ !!!:) }<br />बात केवल मिलने मिलाने की होती हैं तो अच्छा हैं ख़ुशी हुई की आप ने एन्जॉय किया आगे भी सब करे . ब्लॉग बने ही एंजोयमेंट के लिये हैं . ब्लॉग लेखन एज एंजोयमेंट वाह रचनाhttps://www.blogger.com/profile/03821156352572929481noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-64504901468100984602012-09-05T14:58:26.978+05:302012-09-05T14:58:26.978+05:30शास्त्री जी का पगलाना लाजमी है, आयोजकों ने उन्हें ...शास्त्री जी का पगलाना लाजमी है, आयोजकों ने उन्हें समारोह मे बोलने का मौका जो नहीं दिया । खुरपेंचिया जी और उनके शिष्य को तो कम से कम एक-एक टॉफी दे देना चाहिए था रवीन्द्र जी को । खैर आगे से देखिएगा आप लोग पड़ोसी धर्म निभा लीजिएगा टॉफी देकर । पंडित मनई है दोनों स्वाभिमान जाग जाता होगा । बेचारा । अरविन्द शर्माhttps://www.blogger.com/profile/18424577781107642242noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-6190127915716260682012-09-05T14:48:39.867+05:302012-09-05T14:48:39.867+05:30वाह वाह क्या बात है, नक्कालों की नाक |
लम्बी होती ...वाह वाह क्या बात है, नक्कालों की नाक |<br />लम्बी होती जा रही, काट सके तो काट |<br />काट सके तो काट, बड़ी इ'स्टील लगाईं |<br />इ'स्टोलेन पद लेख, चाहिए बड़ी सफाई |<br />देखी चोर जमात, निरर्थक भाव जमाते |<br />निकलेगी बारात, सड़क पर दिखें पिटाते ||<br /><br />उत्कृष्ट प्रस्तुति का लिंक <a href="http://dineshkidillagi.blogspot.in/" rel="nofollow"> लिंक-लिक्खाड़ </a> पर है ।।रविकर https://www.blogger.com/profile/00288028073010827898noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-918152013069570799.post-56656367652812158902012-09-05T14:40:44.039+05:302012-09-05T14:40:44.039+05:30विस्तार से लिखा है आपने ... इस चर्चा में ...विस्तार से लिखा है आपने ... इस चर्चा में ...दिगम्बर नासवाhttps://www.blogger.com/profile/11793607017463281505noreply@blogger.com